इंग्लिश लैंग्वेज पर कमांड न सिर्फ तरक्की की राह आसान कर सकती है, बल्कि आपका कॉन्फिडेंस भी काफी बढ़ा देती है। अपनी इंग्लिश कैसे बेहतर बनाएं, एक्सपर्ट्स से बात करके बता रही हैं प्रियंका सिंह: जानें इंग्लिश का साइंस कोई भी लैंग्वेज सुनने से शुरू होती है। बच्चा सबसे पहले अपने घर और आसपास बोली जाने वाली लैंग्वेज सुनता है, फिर उसे दोहराना शुरू करता है। हमारे देश में इंग्लिश के साथ उलटा होता है। हमारे यहां ज्यादातर बच्चे पहले इसे पढ़ना शुरू करते हैं और फिर बोलना-सुनना। बस यही असली दिक्कत है। घरों में इंग्लिश ज्यादा न बोले जाने से बच्चे ज्यादा सुन नहीं पाते। जिससे बोलने में भी दिक्कत आती है। इंग्लिश बोलने के लिए स्कूल जाना जरूरी नहीं। जो लोग स्कूल नहीं गए, वे भी इसे बोल सकते हैं क्योंकि सारा खेल सुनने और बोलने का है। इंग्लिश बोलने के लिए सबसे पहले सुनने की आदत डालें। हो सकता है शुरुआत में एक-दो दिन समझ में न आए, लेकिन लगातार सुनने से समझ में आने लगेगी। हमारे यहां जो लोग ज्यादा इंग्लिश नहीं बोलते, वे पहले हिंदी में सोचते हैं, फिर उसे इंग्लिश में ट्रांसलेट करते हैं। ऐसा...